कोरबा के एक संयंत्र में पिछले दिनों आई तकनीकी खराबी की वजह से प्रदेश में 500 मेगावॉट बिजली की कमी बनी हुई है। इसकी वजह से प्रदेश में बिजली संकट उत्पन्न हो गया है। इस संकट से निपटने के लिए छत्तीसगढ़ विद्युत वितरण कंपनी निजी उत्पादकों के साथ ही एक्सचेंज से बिजली ओवर ड्रा कर रही है।
प्रदेश में इस समय करीब 2900 मेगावॉट से अधिक बिजली की मांग है, लेकिन कंपनी 27 सौ से 28 सौ मेगावॉट बिजली आपूर्ति कर पा रही है। अभी भी करीब 100 से 150 मेगावॉट बिजली का संकट बना हुआ है। इसकी पूर्ति करने में बिजली कंपनी को कड़ी मेहनत करनी पड़ रही है। कंपनी के अफसरों के मुताबिक दिन में बिजली सरप्लस है, लेकिन शाम होते ही संकट शुरू हो जाता है। देर शाम को छोटे शहरों के साथ ही ग्रामीण इलाकों में बिजली कटौती की जा रही है। विभागीय अफसरों के मुताबिक 6 बजे से लेकर 8 बजे तक कटौती की जा रही है। जरूरत पड़ने पर देर रात को भी कुछ क्षेत्रों में कटौती कर बिजली का संतुलन बनाए रखने की कोशिश की जा रही है।
राजधानी के आउटर में भी कटौती
बिजली कटौती से राजधानी भी अछूती नहीं है। राजधानी के भीतरी हिस्से को छोड़कर आउटर के कुछ इलाके में कटौती की जा रही है। हालांकि दिन में कटौती नहीं की जाती है, लेकिन देर शाम को करीब 1 घंटे के लिए जरूर कटौती कर दूसरे क्षेत्रों में बिजली सप्लाई की जाती है।
संयंत्र के सुधार में लगेगा समय
छत्तीसगढ़ विद्युत वितरण कंपनी के कार्यपालक निदेशक जीसी मुखर्जी ने कहा कि 500 मेगावॉट के संयंत्र के सुधार में समय लगेगा और संयंत्र में सुधार तक बिजली संकट बना रहेगा। ी मुखर्जी ने बताया कि बिजली संकट से निपटने के लिए कंपनी ने पूरी तैयारी कर ली है और मांग के आधार पर बिजली की आपूर्ति की जा रही है। उन्होंने कहा कि कुछ बिजली एक्सचेंज और निजी उत्पादकों से बिजली ली जा रही है।
प्रदेश में इस समय करीब 2900 मेगावॉट से अधिक बिजली की मांग है, लेकिन कंपनी 27 सौ से 28 सौ मेगावॉट बिजली आपूर्ति कर पा रही है। अभी भी करीब 100 से 150 मेगावॉट बिजली का संकट बना हुआ है। इसकी पूर्ति करने में बिजली कंपनी को कड़ी मेहनत करनी पड़ रही है। कंपनी के अफसरों के मुताबिक दिन में बिजली सरप्लस है, लेकिन शाम होते ही संकट शुरू हो जाता है। देर शाम को छोटे शहरों के साथ ही ग्रामीण इलाकों में बिजली कटौती की जा रही है। विभागीय अफसरों के मुताबिक 6 बजे से लेकर 8 बजे तक कटौती की जा रही है। जरूरत पड़ने पर देर रात को भी कुछ क्षेत्रों में कटौती कर बिजली का संतुलन बनाए रखने की कोशिश की जा रही है।
राजधानी के आउटर में भी कटौती
बिजली कटौती से राजधानी भी अछूती नहीं है। राजधानी के भीतरी हिस्से को छोड़कर आउटर के कुछ इलाके में कटौती की जा रही है। हालांकि दिन में कटौती नहीं की जाती है, लेकिन देर शाम को करीब 1 घंटे के लिए जरूर कटौती कर दूसरे क्षेत्रों में बिजली सप्लाई की जाती है।
संयंत्र के सुधार में लगेगा समय
छत्तीसगढ़ विद्युत वितरण कंपनी के कार्यपालक निदेशक जीसी मुखर्जी ने कहा कि 500 मेगावॉट के संयंत्र के सुधार में समय लगेगा और संयंत्र में सुधार तक बिजली संकट बना रहेगा। ी मुखर्जी ने बताया कि बिजली संकट से निपटने के लिए कंपनी ने पूरी तैयारी कर ली है और मांग के आधार पर बिजली की आपूर्ति की जा रही है। उन्होंने कहा कि कुछ बिजली एक्सचेंज और निजी उत्पादकों से बिजली ली जा रही है।
Source: MP News in Hindi and Chhattisgarh News in Hindi
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