Thursday 19 June 2014

In the case of the male skeleton still get Kedargati dissatisfied Commission

केदार घाटी में मिल रहे नर कंकालों के बारे में पुलिस की रिपोर्ट पर राज्य मानवाधिकार आयोग ने असंतोष जताया है। आयोग ने इस संबंध में चीफ सेक्रेटरी से दो हफ्ते के भीतर विस्तृत रिपोर्ट मांगी है। मामले की अगली सुनवाई 14 जुलाई को होगी।

केदार घाटी में आपदा के एक साल बाद भी मिल रहे नर कंकालों के मामले में मीडिया की रिपोर्ट का स्वत: संज्ञान लेते हुए राज्य मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष जस्टिस विजेंद्र जैन ने मंगलवार को शासन से रिपोर्ट तलब की थी। सुनवाई में शासन की तरफ से कोई प्रतिनिधि नहीं आया। पुलिस की तरफ से सीओ सिटी प्रमोद कुमार ने आयोग को बताया कि स्पेशल टास्क फोर्स के डीआइजी जीएस मतरेलिया और डीआइजी गढ़वाल परिक्षेत्र अमित सिन्हा के नेतृत्व में केदार घाटी और आसपास कांबिंग चल रही है।

बताया कि कांबिंग टीम में स्पेशल टास्क फोर्स, सिविल पुलिस और एसडीआरएफ (स्टेट डिजास्टर रिस्पांस फोर्स) शामिल हैं। इसमें अब तक 41 नर कंकाल बरामद किए जा चुके हैं। इनके डीएनए सैंपल लेकर अंतिम संस्कार कर दिया गया है। उन्होंने बताया कि कांबिंग में अभी और नर कंकाल मिलने की संभावना है। इस पर आयोग ने पूछा कि कितने लोग वहां काबिंग कर रहे हैं और कब तक यह कांबिंग जारी रहेगी। यह भी पूछा गया कि यह नर कंकाल ऊंचाई वाले क्षेत्रों में मिले हैं या निचले क्षेत्र में। इस पर पुलिस की ओर से बताया गया कि नर कंकाल जंगलचट्टी के आसपास मिले हैं, लेकिन स्पेशिफिक स्पॉट की जानकारी न देने पर आयोग ने असंतोष जताया।

जस्टिस जैन ने कहा कि आयोग को दो हफ्ते के भीतर कांबिंग टीम के सदस्यों, सर्च अभियान की अवधि, स्पेशिफिक स्पॉट के बारे में विस्तृत रिपोर्ट चाहिए। मामले की अगली सुनवाई 14 जुलाई को होगी।

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