Wednesday, 20 August 2014

Electricity cricess

पंकज तिवारी,जबलपुर । प्रदेश में एक बार फिर बिजली का संकट गहरा गया है। ग्रामीण इलाकों में 24 घंटे बिजली आपूर्ति के दावे को पूरा करने में सरकार कमतर साबित हो रही है। ग्रामीण क्षेत्रों में 24 घंटे की जगह बमुश्किल 16 घंटे ही बिजली मिल पा रही है। ब्लॉक और तहसील में भी लोग अघोषित कटौती से हलाकान है। कोयला कम होने की वजह से कई यूनिट भी बंद हो चुकी है। अफसर मानसून की मेहरबानी के बाद ही हालात बदलने का दावा कर रहे हैं।

अटल ज्योति अभियान में शहर और गांव में 24 घंटे बिजली देने का दावा करने वाली सरकार बिजली संकट से जूझ रही है। गांव में 2-2 घंटे की अघोषित कटौती की जा रही है। जिससे लोग अंधेरे में रहने को मजबूर हैं। बिजली की कमी की वजह उत्पादन इकाईयों का बंद होना बताया गया है। वर्तमान में करीब आधा दर्जन से ज्यादा यूनिट बंद है। जिसके कारण डिमांड से करीब 1200 मेगावाट उत्पादन कम हो रहा है। भरपाई कटौती के जरिए हो रही है, यह स्थिति पूरे प्रदेश में बनी हुई है।

कोयला की कमी

सारणी पॉवर प्लांट की महज 4 यूनिट ही चल रही हैं। अमरकंटक में भी मेनटेनेंस के नाम पर यूनिटों को बंद किया गया है। संजय गांधी ताप विद्युत गृह में भी यूनिट बंद हैं। पूरे मामले में पॉवर जनरेटिंग कंपनी के प्रबंध संचालक से बात करने का प्रयास किया गया लेकिन संपर्क नहीं हो पाया।

शिफ्टों में कटौती

बिजली कंपनी ग्रामीण इलाकों में हंगामा न हो इस वजह से कटौती शिफ्टों में कर रही है। तहसील स्तर पर यह समस्या है। दो-दो घंटे की शिफ्ट में बिजली बंद हो रही है।

खरीदी शुरू हो गई

पॉवर मैनेजमेंट कंपनी ने बिजली की कमी को देखते हुए बाजार से करीब 200 मेगावाट बिजली की खरीदी शुरू कर दी है। इसके बावजूद कमी बरकरार है।

सेंट्रल सेक्टर से कमी

पॉवर मैनेजमेंट कंपनी के मुताबिक एनटीपीसी के नागपुर मउदा सुपर थर्मल पॉवर प्लांट तथा सिगरौंली के विध्यांचल पॉवर प्लांट में उत्पादन घटकर एक तिहाई हो गया है। जिसकी वजह से मध्यप्रदेश के हिस्से की बिजली पर्याप्त मात्रा में नहीं मिल पा रही है।

इनका कहना है

प्रदेश में करीब 1200 मेगावाट बिजली कम है। सेंट्रल सेक्टर से कम बिजली मिल रही है। कोयले की कमी के कारण यह समस्या है। हम बिजली खरीदकर जरूरत कम करने का प्रयास कर रहे हैं।

-मनु श्रीवास्तव, एमडी पॉवर मैनेजमेंट कंपनी

उत्पादन बेशक कम हुआ है जिसके कारण सप्लाई बाधित हो रही है। अभी लोड भी बढ़ गया है। बारिश होने पर ही कुछ समस्या में सुधार हो पाएगा।

-केसी बड़कुल, डायरेक्टर कमर्शियल, पॉवर मैनेजमेंट कंपनी

तहसील स्तर पर कटौती हो रही है। जल्द ही स्थिति में सुधार होने की संभावना है। पॉवर की कमी के कारण प्रदेश भर में यही स्थिति है।

-पीके सिन्हा, सीई जबलपुर संभाग, पूर्व क्षेत्र कंपनी

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