व्यापमं के जरिए जेल प्रहरी बनाने के नाम पर बेरोजगारों से लाखों रुपए की ठगी करने वाला केंद्रीय जेल भोपाल का विधि अधिकारी मृगेंद्र प्रताप सिंह पुलिस के पूछताछ करते ही सीना पकड़कर बैठ जाता। पुलिस सर्जरी होने के कारण भी पूछताछ में ज्यादा सख्ती नहीं कर पाई। आरोपी को मंगलवार को न्यायालय के आदेश पर जेल भेज दिया।
एसपी नॉर्थ अरविंद सक्सेना ने बताया कि मृगेंद्र ने पूछताछ में बिल्कुल भी सहयोग नहीं किया। जब भी पुलिस उससे कुछ सवाल करती वह सीना पकड़ लेता था। माथे पर हाथ फेरते हुए पसीना-पसीना हो जाता। ऐसा दिखाते मानो उसे बहुत दर्द हो रहा हैं। काफी कोशिश के बावजूद पुलिस उससे ज्यादा पूछताछ नहीं कर पाई। हालांकि उसने बताया कि उसने सारा रुपए खर्च कर दिए हैं। सूचना मिलने के बाद कई बेरोजगारों ने पुलिस से संपर्क किया है। मंगलवार को शुजालपुर के भी तीन युवकों ने आरोपी पर जेल प्रहरी बनाने के नाम पर एक-एक लाख रुपए की ठगी के आरोप लगाए हैं। मृगेंद्र ने समल दास को एक चेक दिया था, जो बाउंस हो गया था। जिसके बाद ही उसकी धोखाधड़ी का भंडाफोड़ हो पाया। पुलिस ने तीन दिन की पुलिस रिमांड सामप्त होने पर मंगलवार दोपहर आरोपी को न्यायालय में पेश कर दिया। कोर्ट ने आरोपी को जेल भेज दिया है।
एसटीएफ ने नहीं की पूछताछ
पुलिस ने व्यापमं का नाम आने के बाद एसटीएफ के अधिकारियों से मृगेंद्र से पूछताछ के लिए कहा था, लेकिन एसटीएफ ने इसमें रुचि नहीं दिखाई। संभावना जताई जा रही है कि एसटीएफ हो सकता है कि न्यायालय से उससे रिमांड पर लेकर पूछताछ करें। हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हो सकी।
एसपी नॉर्थ अरविंद सक्सेना ने बताया कि मृगेंद्र ने पूछताछ में बिल्कुल भी सहयोग नहीं किया। जब भी पुलिस उससे कुछ सवाल करती वह सीना पकड़ लेता था। माथे पर हाथ फेरते हुए पसीना-पसीना हो जाता। ऐसा दिखाते मानो उसे बहुत दर्द हो रहा हैं। काफी कोशिश के बावजूद पुलिस उससे ज्यादा पूछताछ नहीं कर पाई। हालांकि उसने बताया कि उसने सारा रुपए खर्च कर दिए हैं। सूचना मिलने के बाद कई बेरोजगारों ने पुलिस से संपर्क किया है। मंगलवार को शुजालपुर के भी तीन युवकों ने आरोपी पर जेल प्रहरी बनाने के नाम पर एक-एक लाख रुपए की ठगी के आरोप लगाए हैं। मृगेंद्र ने समल दास को एक चेक दिया था, जो बाउंस हो गया था। जिसके बाद ही उसकी धोखाधड़ी का भंडाफोड़ हो पाया। पुलिस ने तीन दिन की पुलिस रिमांड सामप्त होने पर मंगलवार दोपहर आरोपी को न्यायालय में पेश कर दिया। कोर्ट ने आरोपी को जेल भेज दिया है।
एसटीएफ ने नहीं की पूछताछ
पुलिस ने व्यापमं का नाम आने के बाद एसटीएफ के अधिकारियों से मृगेंद्र से पूछताछ के लिए कहा था, लेकिन एसटीएफ ने इसमें रुचि नहीं दिखाई। संभावना जताई जा रही है कि एसटीएफ हो सकता है कि न्यायालय से उससे रिमांड पर लेकर पूछताछ करें। हालांकि इसकी आधिकारिक पुष्टि नहीं हो सकी।
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